कालिन्दी आंदोलन खत्म, ट्रेन 28 से चलेगी
कोहरे के कारण बंद की गई कालिंदी एक्सप्रेस अब 28 जनवरी से फिर से पटरी पर दौड़ने लगेगी। इस बात का लिखित आश्वासन मिलने के साथ ही इस गाड़ी के संचालन को लेकर पिछले आठ दिनों से चल रहा धरना सोमवार को समाप्त हो गया।
लोक समिति के बैनर तले चल रहा ये आंदोलन रविवार को आमरण अनशन में तब्दील हो गया था। आमरण अनशन शुरू होते ही रेलवे प्रशासन व जिला प्रशासन में खलबली मच गयी। सोमवार को एसडीएम सदर जयशंकर दुबे व सीओ सिटी अजीत कुमार सिन्हा आंदोलन स्थल पर पहुंचे। एसडीएम ने दूरभाष से डीआरएम इलाहाबाद से वार्ता की। उनके निर्देश पर स्टेशन अधीक्षक एसके सिंह ने लिखित आश्वासन दिया कि 28 जनवरी से कालिन्दी शुरू कर दी जायेगी। साथ ही अन्य मांगों में तकनीकी कारण से समय लगेगा।
समिति के राष्ट्रीय अध्यक्ष सुल्तान सिंह ने कहा कि यह आंदोलन रेल बजट आने तक के लिये स्थगित किया गया है। यदि उनकी अन्य मांगों को गंभीरता से नहीं लिया गया तो यह आंदोलन पुन: शुरू किया जायेगा।
आमरण अनशन धर्मेन्द्र चौहान को स्टेशन अधीक्षक ने एसडीएम, सीओ सिटी, आगरा से आये जीआरपी सीओ देवेश कुमार पाण्डेय की उपस्थिति में दूध पिलाकर खत्म कराया गया। इस अवसर पर विजेन्द्र सिंह, शिवओंकार बाल्मीकि, सुमित्र चौहान, रामऔतार वर्मा, संतोष पाल, सुरेन्द्र, सोनेलाल कुशवाहा, अजीत राठौर, विजय प्रताप भदौरिया, जगनंदन शर्मा, रवीन्द्र सिंह आदि लोग मौजूद थे।
इस दौरान समाजवादी पार्टी, भारतीय जनता पार्टी, हिन्दू युवा वाहिनी, सिविल पेंशनर्स एवं अन्य दलों के पदाधिकारी भी क्रमिक अनशन के समर्थन में जुट गए। बाद में कांग्रेसी नेता धरना समाप्त कराने पहुंचे, लेकिन उनके पहुंचने से पहले ही आंदोलन समाप्त होने की घोषणा हो चुकी थी।
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